तारे टिमटिमाते हुए क्यों दिखाई देते हैं? | Why Do Stars Appear Twinkling?
'प्रकाश के अपवर्तन' के कारण तारे टिमटिमाते हुए दिखाई देते हैं। प्रकाश से सबन्धित इस घटना को इस प्रकार समझा जा सकता है–
'Refraction of light' causes stars to twinkle. This phenomenon related to light can be understood as–
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लेंस की क्षमता क्या होती है? | What Is The Power Of The Lens?
पृथ्वी की सतह से ऊपर जाने पर वायु का घनत्व क्रमशः कम होने लगता है। इसके साथ ही पृथ्वी पर ताप परिवर्तन भी होते रहता है। इस वजह से वायु कणों की गतिशीलता परिवर्तित होते रहती है। इस कारण आकाश और धरती के मध्य विभिन्न परतों का घनत्व परिवर्तित होते रहता है। फलस्वरूप आकाश और धरती के बीच विरल माध्यम और सघन माध्यम की विभिन्न परतें बन जाती हैं।
The density of air gradually decreases as we move above the surface of the earth. Along with this, temperature changes also happen on the earth. Due to this the mobility of air particles keeps on changing. Due to this, the density of different layers between the sky and the earth keeps on changing. As a result, different layers of rarefied medium and denser medium are formed between the sky and the earth.
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(1/v)-(1/u) = (1/f) | लेंस सूत्र की व्युत्पत्ति || Derivation Of Lens Formula
तारे पृथ्वी से बहुत अधिक दूरी पर स्थित हैं। अतः तारों से चलने वाली प्रकाश किरणों को वायुमण्डल की विभिन्न परतों को पार करना पड़ता है। जब तारे से कोई प्रकाश किरण धरती की ओर आती है, तो प्रकाश के अपवर्तन के कारण वह लगातार अपना मार्ग बदलते रहती है। प्रकाश किरण कभी अभिलम्ब की ओर झुकती है और कभी अभिलम्ब से दूर हट जाती है। इस प्रकार तारों से आने वाली प्रकाश किरणें लगातार अपवर्तित होते रहती हैं। इस कारण पृथ्वी पर अवलोकन करते समय मनुष्य की आँखों में प्रवेश करने वाली प्रकाश किरणों की संख्या लगातार बदलती रहती है। अत: तारे टिमटिमाते हुए दिखाई देते हैं।
Stars are located very far away from Earth. Therefore, the light rays coming from the stars have to cross the different layers of the atmosphere. When a ray of light from a star comes towards the earth, it constantly changes its path due to the refraction of light. The light ray sometimes bends towards the normal and sometimes moves away from the normal. In this way the light rays coming from the stars are continuously refracted. For this reason the number of light rays entering the human eye while observing the earth varies continuously. Hence the stars appear to twinkle.
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लेंस के लिए चिह्न परिपाटी | Mark Convention For Lenses
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(आशा है, उपरोक्त जानकारी उपयोगी एवं महत्वपूर्ण होगी।)
Thank you.
R F Temre
pragyaab.com
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